बिलासपुर/ जरहागांव, शिक्षा के मंदिर कहे जाने वाले स्कूल में शुक्रवार को ऐसा मंजर देखने को मिला जिसने पूरे गांव को हिला दिया। बरदुली स्थित शासकीय प्राथमिक शाला में कक्षा तीसरी की कक्षा के दौरान अचानक छत का प्लास्टर भरभराकर गिर पड़ा, जिससे दो मासूम छात्र हिमांचुक दिवाकर और आंशिक दिवाकर गंभीर रूप से घायल हो गए। हादसे में दोनों के सिर पर गहरी चोटें आईं, जिनमें से एक के सिर पर तीन टांके लगे हैं। अचानक हुए इस हादसे के बाद से दोनों बच्चे गुमसुम हैं और स्कूल जाने के नाम से घबराने लगे हैं।

घटना की खबर मिलते ही स्थानीय नेता और जनप्रतिनिधियों ने पीड़ित परिवार के घर पहुंचे और बच्चों का हालचाल लिया। उन्होंने घबराए बच्चों को सांत्वना देते हुए हर संभव सहयोग का भरोसा दिलाया। घायल बच्चों के पिता राजा दिवाकर और रमेश दिवाकर ने बताया कि वे अपने बच्चों को पढ़ाने के लिए स्कूल भेजते हैं, लेकिन वहां उनकी जान पर बन आना बेहद चिंता की बात है।
शिक्षा विभाग के अधिकारी भी मौके पर पहुंचे और बच्चों को प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र दशरंगपुर में उपचार के बाद घर भेज दिया। गंभीर चोटों के बावजूद उन्हें बिलासपुर रेफर नहीं किए जाने पर अभिभावक नाराज हैं। जिला शिक्षा अधिकारी सी.के. घृतलहरे ने बताया कि बीईओ ने मौके पर जांच की और शिक्षकों से पूछताछ में पता चला कि छत के गिरने का कोई संकेत पहले से नहीं था। फिलहाल बच्चों की कक्षाएं आंगनबाड़ी भवन में लगाने के निर्देश दिए गए हैं।

इधर घटना के बाद स्थानीय लोगों का कहना है, कि यह भवन लंबे समय से जर्जर हालत में है और ऐसे भवन में बच्चों को बैठाना गंभीर लापरवाही है। ब्लॉक कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष रामचंद्र साहू ने प्रशासन से मांग की है कि जर्जर भवन में तुरंत कक्षाएं बंद की जाएं और सुरक्षित नए कमरे का निर्माण कराया जाए, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।

